यूपी में कुख्यात माफिया का एनकाउंटर
यूपी के विभिन्न थानों में चल रहे थे 35 मुकदमे
लखनऊ। यूपी एसटीफ ने गोरखपुर के कुख्यात बदमाश विनोद उपाध्याय को एनकाउंटर में मार गिराया है। गुरुवार की रात सुल्तानपुर में एसटीफ और माफिया के बीच मुठभेड़ हुई। जिसमें माफिया विनोद गोली लगने से घायल हो गया। बाद में उसने अस्पताल में दम तोड़ दिया। विनोद उपाध्याय पर गोरखपुर पुलिस ने एक लाख रुपये इनाम घोषित किया था। पुलिस को उसकी जमीन कब्जाने, हत्या और हत्या के प्रयास समेत कई मामलों में तलाश थी।
मुठभेड़ में मारा गया विनोद उपाध्याय पुत्र रामकुमार उपाध्याय मूल रूप से मयाबाजार थाना महाराजगंज, अयोध्या का रहने वाला था। अपराध की दुनिया का बड़ा नाम और उत्तर प्रदेश के टॉप 61 माफिया की सूची में शामिल माफिया विनोद कुमार उपाध्याय पर एडीजी जोन गोरखपुर ने एक लाख रुपये का इनाम घोषित किया था। गुरुवार की रात बदमाश विनोद उपाध्याय और एसटीएफ के मध्य सुल्तानपुर के थाना कोतवाली देहात क्षेत्र में मुठभेड़ हो गई।
मुठभेड़ में विनोद उपाध्याय गोली लगने से गंभीर रूप से घायल हो गया। जिसको इलाज के लिए मेडिकल कॉलेज सुल्तानपुर लाया गया। जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। अभियुक्त विनोद के ऊपर कुल 35 मुकदमें विभिन्न जनपदों के भिन्न-भिन्न थानों में दर्ज हैं, जिसमें हत्या व हत्या के प्रयास के कई मुकदमें भी शामिल हैं। प्रदेश के बड़े माफियाओं में विनोद उपाध्याय का नाम शामिल था।
मई, 2023 में गुलरिहा थाने में रंगदारी और जालसाजी का मुकदमा दर्ज होने के बाद से विनोद फरार चल रहा था। एडीजी ने उस पर एक लाख रुपये इनाम घोषित किया था। विनोद ने चर्चित माफिया श्रीप्रकाश शुक्ला के सम्पर्क में आने के बाद अपराध की दुनिया में कदम रखा था। आइजी रेंज ने अगस्त में माफिया के ऊपर 50 हजार रुपये का इनाम घोषित किया था, लेकिन माफिया को पुलिस पकड़ नहीं सकी। सितम्बर में एडीजी जोन ने इनाम बढ़ाकर एक लाख रुपये कर दिया था, जिसके बाद उसका नाम मोस्ट वांटेड की लिस्ट में जुड़ा और एसटीएफ की टीम ने सरगर्मी से तलाश शुरू की। विनोद उपाध्याय को पकड़ने के लिए पिछले आठ माह से माफिया के गोरखपुर, अयोध्या, लखनऊ और प्रदेश के अन्य शहरों में स्थित ठिकाने पर छापेमारी चल रही थी। अंत में एसटीएफ टीम को सफलता मिली।